भारत के महान वैज्ञानिक डा. ए. पी. जे. अब्दुल कलाम का वास्तविक नाम अबुल पाकिर जैनुल आब्दीन अब्दुल कलाम था। भारत के रक्षा और अंतरिक्ष विज्ञान के क्षेत्र में इन्होंने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई जिसके सम्मान में इन्हें “भारत का मिसाइल मैन” कहा गया। वे सादा जीवन जीते हुए उच्च विचारों वाले व्यक्ति थे। गैर हिन्दू होते हुए भी श्रीमद् भागवत गीता इन्हें कंठस्थ याद था। वे छात्रों को विज्ञान और प्रौद्योगिकी की तरफ प्रोत्साहित करते थे। कलाम सर ने ज्यादातर विज्ञान, प्रौद्योगिकी और प्रेरणादायक के क्षेत्र में कई किताबें लिखी थी।
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ए. पी. जे. अब्दुल कलाम पर 10 लाइन (Ten Lines on A.P.J. Abdul Kalam in Hindi)
आईये इन वाक्यों के सेट से हम भारत के पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम जी के जीवन और कार्यों से जुड़े कुछ महत्वपूर्ण बातों को जानते है।
Abdul Kalam par 10 Vakya – Set 1
1) अबुल पाकिर जैनुल आब्दीन अब्दुल कलाम का जन्म 15 अक्टूबर 1931 को हुआ।
2) इनका जन्म रामेश्वरम के धनुषकोडी ग्राम में एक मध्यमवर्गीय परिवार में हुआ।
3) बचपन से ही कलाम पढ़ने में बहुत होनहार थे और फाइटर पायलट बनना चाहते थे।
4) अपनी शिक्षा को जारी रखने के लिए कलाम अख़बार बेचने का भी कार्य करते थे।
5) अंतरिक्ष विज्ञान में स्नाकोत्तर इन्होंने मद्रास इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी से पूरा किया।
6) स्नातक के पश्चात् कलाम रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) में शामिल हुए।
7) DRDO के बाद 1962 में ISRO से जुड़ें और कई उपग्रह प्रक्षेपण कार्यों में शामिल हुए।
8) इन्हें सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों की सहमति से भारत का 11वां राष्ट्रपति चुना गया।
9) इनके योगदानों के लिए इन्हें 1997 में ‘भारत रत्न’ से सम्मानित किया गया।
10) 25 जुलाई 2015 को IIM शिलांग में एक व्याख्यान के दौरान हार्ट अटैक से इनकी मृत्यु हो गयी।
Abdul Kalam par 10 Vakya – Set 2
1) एक गरीब परिवार में जन्मे अब्दुल कलाम ने अपनी मेहनत और लगन से वैज्ञानिक और राष्ट्रपति के तौर पर देश का मान बढ़ाया।
2) कलाम संयुक्त परिवार से थे, जिसमें लगभग 25 सदस्य थे।
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3) कलाम सर ने पहला स्वदेशी उपग्रह प्रक्षेपण यान III (PSLV III) के परियोजना निदेशक के रूप में कार्य किया।
4) अंतरिक्ष विज्ञान की निपुणता ने उन्हें भारत के “मिसाइल मैन” नाम से लोकप्रिय बना दिया।
5) भारत की बैलिस्टिक मिसाइल प्रौद्योगिकी और प्रक्षेपण यान प्रणालियों पर उन्होंने उत्कृष्ट कार्य किया था।
6) राजस्थान के पोखरण में हुए दुसरे सफल परमाणु परिक्षण में कलाम सर ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
7) भारतीय रक्षा मंत्रालय के वैज्ञानिक सलाहकार के रूप में इन्होंने भारतीय रक्षा के लिए अग्नि मिसाइल प्रणाली के विकास में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
8) उनके जन्मदिन 15 अक्टूबर को तमिलनाडु में ‘युवा पुनर्जागरण दिवस’ का रूप में मनाते हैं।
9) भारतीय वायुसेना में 8 रिक्तियों में 9वां स्थान आने के कारण ये फाइटर पायलट बनने से चूक गये थे।
10) कलाम सर को 40 से अधिक विश्वविद्यालयों से डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त थी।
डॉ एपीजे अब्दुल कलाम के विचार और उनकी विचारधारा सदैव युवा पीढ़ी के लिए मार्गदर्शन का काम करेगी। देश की सुरक्षा और शक्ति से लेकर आधुनिक तकनीक के क्षेत्र में कलाम जी द्वारा किये गये योगदान हमेशा स्मरणीय रहेंगे। भारत की पकड़ अंतरिक्ष तक पहुंचाना हो या भारत को परमाणु शक्ति बना देने जैसे सभी कार्यों के लिए देश व देश के लोग हमेशा कलाम सर के आभारी रहेंगे।